पूर्णिया के कसबा के जवनपुर के पास शुक्रवार तड़के कटिहार-जोगबनी रेलखंड पर एक साथ पांच बच्चे वंदे भारत ट्रेन की चपेट में आ गए। इसमें चार की मौत हो गई, जबकि गंभीर है। मामले की निष्पक्ष जांच की मांग को लेकर सोमवार को बनमनखी विधायक कृष्ण कुमार ऋषिदेव मृतक के परिजनों के साथ डीआईजी से मिलने पहुंचे। डीआईजी विनोद कुमार मंडल से हुई मुलाकात में मामले की निष्पक्ष जांच और मुआवजे की मांग की। घटनाक्रम को लेकर मृतक श्यामसुंदर के पिता ब्रह्मदेव ऋषिदेव ने बताया कि दरभंगा के बेनीपट्टी के रहने वाले ठेकेदार विशो उनके गांव जानकीनगर के ठाकुरपट्टी गांव आया था। उसने कहा था कि उसे मखाना फोड़ी के काम के लिए कुछ लोगों की जरूरत है। इसके एवज में वो 5 हजार रुपए देगा। उनकी और उनके परिवार की आर्थिक स्थिति बेहद खराब है। सुबह खाऊं तो शाम के लिए सोचना पड़ता है। बच्चे गांव में खेलते रहते थे। ब्रह्मदेव ऋषिदेव ने कहा कि हम लोगों से बच्चों ने कहा अगर वे काम कर कुछ पैसे कमा सकते हैं तो इसमें हर्ज ही क्या है। उनकी ये बात सुनकर उन्होंने डेढ़ महीने पहले अपने बेटे श्यामसुंदर कुमार (15), भतीजा सिंटू कुमार (14), जिगर कुमार (14) और भागना रोहित कुमार (15) और भतीजा कुलदीप ऋषिदेव (12) को ठिकेदार ठेकेदार के कहने पर मखाना फोड़ी के काम के लिए सपनी भेजा था। ठेकेदार ने कॉल कर धमकी भी दी थी सप्ताह भर पहले बेटे और भतीजे ने फोन पर बताया कि आधे पेट खाने में बच्चों से ओवर टाइम करा रहा था। मना करने पर उन्हें पीटा जाता है और जबरन उनसे मखाना फोड़ी कराया जा रहा है। इस पर जब उन्होंने सभी को काम छोड़कर वापस घर चले आने को कहा। तो बच्चों ने कहा कि पैसे मिलते ही सभी काम छोड़कर भाग जाएंगे। पैसे लेकर सभी दिवाली पर लौट आएंगे। घटना से ठीक पहले रात गए करीब 9 के बीच मेरे बेटे और भतीजे की घर वालों से बातचीत हुई थी। फोन पर उसने बताया था कि दशहरा का मेला घूमने को भी उन्हें छुट्टी नहीं मिली। इससे तंग आकर वे लोग भाग निकले हैं। अब वे ठेकेदार के अंदर रहकर काम नहीं करेंगे। वहीं इसके कुछ ही देर बाद ठेकेदार ने कॉल कर धमकी दी थी। बनमनखी विधायक बोले- एक ही जगह बॉडी पड़ी थी, ये हत्या है अगली सुबह करीब 6 बजे ठेकेदार का कॉल आया। फोन पर ठेकेदार ने कहा बच्चे भाग गए हैं। वे उनके पास नहीं। वो बच्चों को ढूंढ रहे हैं। घंटे भर बाद उन्हें फोन पर ये जानकारी मिली कि बच्चे ट्रेन से कट गए हैं। पोस्टमार्टम पहुंचने पर बेटे और चार भतीजे की लाश छत विक्षत अवस्था में पाया। इसे देखकर सात लगता है कि ये हत्या है इसे हादसे का रूप दिया जा रहा है। वहीं बनमनखी विधायक कृष्ण कुमार ऋषि ने बताया कि जिस तरीके से बॉडी रेलवे ट्रैक पर एक ही जगह पड़ी थी, इससे साफ लगता है कि ये हत्या है। क्योंकि ट्रेन आती तो कोई एक बच्चा जरूर भागता और अपनी जान बचाता। सभी बच्चों की लाश एक ही पोजीशन में एक जगह रेलवे ट्रैक पर थी। ये संदेहास्पद है। ठेकेदार के तरफ से धमकी मिलने की बात सामने आई है। पुलिस इसकी भी जांच कर रही है। डीआईजी बोले- विधायक और परिजन से मुलाकात हुई, पड़ताल जारी मामले की जानकारी देते हुए डीआईजी प्रमोद कुमार मंडल ने कहा कि घटना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। घटनाक्रम को लेकर स्थानीय विधायक और परिजनों से मुलाकात हुई है। घटना के हर एक बिंदु को परिजनों ने सामने रखा है। इस मामले में कसबा थाना में केस दर्ज कर लिया गया है। दो बिंदु से पुलिस को इस मामले की जांच करने को कहा गया है। पहला घटना स्थल से बच्चों का एक मोबाइल बरामद हुआ है। उस मोबाइल से जांच में ये पता चल सकेगा कि बच्चे किस लोकेशन से कहां कहां गए। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने पर ये साफ हो जाएगा कि ट्रेन आने से पहले ही इनकी हत्या हुई। हत्या के बाद लाश को रेल ट्रैक पर फेंका गया। या फिर ट्रेन से कटने से बच्चों की मौत हुई है। साथ ही एसपी और डीएसपी को भी इस केस पर नजर बनाए रखने को कहा है। साथ ही मुआवजे के लिए जिला प्रशासन से आग्रह की गई है। पीड़ित परिवार को मुआवजा मिल सके इसके लिए हर मुमकिन कोशिश की जानी चाहिए।